घड़ी में करीब 2:30 बज रहे थे। यह बहुत ही खामोश दृश्य था। पूरा अस्पताल जिद्दी सन्नाटे में कैद हो गया कि अचानक अस्पताल के गेट पर एक रिक्शा रुका। महिला का साथ देते हुए अस्पताल के अंदर घुसा अज्ञात शख्स…
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घड़ी में करीब 2:30 बज रहे थे। यह बहुत ही खामोश दृश्य था। पूरा अस्पताल जिद्दी सन्नाटे में कैद हो गया कि अचानक अस्पताल के गेट पर एक रिक्शा रुका। महिला का साथ देते हुए अस्पताल के अंदर घुसा अज्ञात शख्स…
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